Piping Material Selection in hindi
इस पोस्ट में हम पाइपिंग मटेरियल सेलेक्शन के बारे में सीखने वाले हैं। मैं आपको पाइपिंग मटिरीअल सेलेक्शन में जो जो क्राइटीरिया होता है उसमें क्या ध्यान रखना पड़ता है उसके बारे में बताऊँगा।
Piping Material Selection in hindi
आप सब जानते हैं की जो प्रोसेसिंग प्लांट होता है, उसमें जो पाइपिंग रहती है वो अलग अलग प्रकार के fluid को ट्रांसपोर्ट करती है। मतलब उसमें कोई liquid flammable होता है, corrosive होता है, explosive होता है, volatile होता है, कभी कभी रिऐक्टिव मटीरियल्स होता है, उसके साथ में कुछ तो हजार्डस मटेरियल भी होते हैं जो कि ह्यूमन हेल्थ के लिए बहुत ही डेंजरस होते हैं।
Piping Material Selection in hindi
तो जब आप इतने अलग-अलग प्रकार के मटीरियल हैंडल कर रहे हैं प्रोसेस प्लांट में तो सारे फ्लूइड के लिए कोई सिंगल पाइप मटिरीअल नहीं चलेगा।
उसके लिए आपको ऐसा मटेरियल सिलैक्ट करना पड़ेगा जो इन मटेरियल के साथ में सेफ हो तो इस पोस्ट में हम वो चीज़ डिस्कस करने वाले हैं।
पाइपिंग मटिरीअल सेलेक्शन में जो क्राइटीरिया डिपेंड करता है मतलब उसमें सबसे इम्पोर्टेन्स क्राइटीरिया क्या है तो वो आपका fluid कौन सा है? और वो फ्लूइड के बेसिस पे दूसरे जो पैरामीटर्स है वो हम अभी डिस्कस करने वाले हैं तो यहाँ पे मैंने वो पैरामीटर्स लिस्ट किए हुए हैं जो पहला पैरामीटर हैं।
Piping Material Selection in hindi
1. Service Fluid :
Corrosive:
जो सर्विस फ्लड हैं वो पाइपिंग मटीरीअल सेलेक्शन को कैसे इफ़ेक्ट करता है तो जो corrosive मटीरियल रहता है जैसे sea water हो गया, सल्फाइट्स हो गया, हाइड्रोजन सल्फाइड है, अमोनिया है, एसिड हैं, ये सारे मटेरियल कोरोसीव है।
इसके साथ में बहुत सारे दूसरे मटीरियल्स रहते हैं जो corrosive रहते है। तो अगर आप फ्लूइड सर्विस के लिए पाइप सिलैक्ट कर रहे हैं तो आपको उसके लिए ऐसा मटेरियल सिलैक्ट करना पड़ेगा जिसका कोरीज़न रेजिस्टेंस ज्यादा है। तभी आपका पाइपिंग जो है वो विदस्टैंड करेगा। पर्टिकुलर प्लांट लाइफ की डिज़ाइन तक.
Non-Corrosive:
जैसे lube oil हो गया Air हो गया, नाइट्रोजन हो गया ये सारे जो fluid है वो नॉन कोरोसिव एंड एंड नॉन हार्मफुल है तो इसके लिए नॉर्मल मटेरियल यूज़ करना पड़ेगा।
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Piping Material Selection in hindi
2. Temperature:
अभी लो टेम्परेचर हो गया मीडियम एंड हाई टेम्प्रेचर सर्विस हो गई क्रायोजेनिक सर्विस हो गई तो ये सारी सर्विसिस के लिए आपको जो मटिरीअल है वो डिफ़रेंटली सिलैक्ट करना पड़ता है!
क्योंकि क्या होता है कि जब भी fluid सर्विस का टेम्परेचर चेंज होता है तो जो मेटैलिक मटीरीअल रहता है उसकी मेकनिकल प्रॉपर्टीज़ भी इम्पैक्ट आ जाता है। मतलब उस पे बहुत ज्यादा उसमें वेरिएशन आना चालू हो जाता है!
जैसे कि टेम्परेचर कम हो जाता है। क्रायोजेनिक सर्विसेस में तो आपको ऐसा मटेरियल चाहिए जो इम्पैक्ट रेजिस्टेन्स हो और दूसरा इफेक्ट जो होता है हाइ टेम्परेचर पे आपका elongation है tensile स्ट्रेंथ है,
ये सब क्राइटीरिया को इफेक्ट करने लगता है। तो आपको सेफ ऑपरेशन के लिए आपको ऐसा मटेरियल चाहिए जो आपकी जो टेम्परेचर की रिक्वायरमेंट है और साथ में जो प्रेशर की रिक्वायरमेंट है तो ऐसा मटेरियल आपको चाहिए की जो उस पर्टिकुलर डिज़ाइन कंडीशन पे सर्विस कंडीशन पे ऑपरेशन कंडीशन पे विथस्टैंड कर पाए।
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Piping Material Selection in hindi
3.High and Low Pressure:
अभी आप सब जानते हैं की अगर लो प्रेशर पाइपिंग है या तो हाई प्रेशर पाइप इनके साथ में वैक्यूम पाइपिंग है, तो ये सब के लिए जो क्राइटीरिया रहता है मटेरियल का वो चेंज हो जाता है। मतलब आपको हाई प्रेशर पाइपिंग है तो आपको हाई स्ट्रेंथ वाला मटेरियल चाहिए। कंपेर्ड टु नॉर्मल कार्बन स्टील आप उसके लिए low एलाय स्टील यूज़ कर सकते हैं और दूसरे जो हाई स्ट्रेंथ मटेरियल होते हैं उसको यूज़ करना पड़ता है।
अभी ये तीन मेन प्रोसेसर पैरामीटर है। इसके साथ में आप कौन कौन से पैरामीटर कन्सिडर्ड करेगी? क्योंकि हमको जो प्लांट कंस्ट्रक्ट करना है वो
(i) उसके हमको कॉस्ट को देखना है।
(ii) मटेरियल अवेलेबल है की नहीं वो देखना पड़ेगा मार्केट में
(iv) मैनुफैक्चर एबिलिटी चेक करनी पड़ेगी।
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Piping Material Selection in hindi
ये सारे पैरामीटर्स को कंसिडर करके आप ऐसा मटेरियल सिलेक्ट करोगे की जो आपकी सर्विस को बेस्ट सूटेड है, साथ में कॉस्ट इफेक्टिव है अवेलेबल है। मतलब इजीली मैनुफैक्चरएबल है तो ये सारे क्राइटीरिया हो गया पाइपिंग मटीरीअल सिलैक्ट करने के लिए ध्यान रखना पड़ता है।
सिमिलर टू जो प्रोसेसर कंडीशन है जो प्रोसेसर उसके साथ मेकनिकल जो मटिरीअल है उसकी मटेरियल की प्रॉपर्टी खुद की प्रॉपर्टी होती है, वो भी आपको ध्यान रखनी पड़ेगी। मतलब ये सारी प्रॉपर्टी और आपकी सर्विस की जो रिक्वायरमेंट है वो दोनों मैच होनी चाहिए।
मतलब जो मटिरीअल की प्रॉपर्टी है वो क्या आप कौन कौन सी प्रॉपर्टी पर देखेगी उसको मटीरियल्स इलेक्शन के टाइम पे तो उसका जो Ultimate Tensile Strength है, Yield Strength है, Elasticity है, Elongation है, Hardness है, Toughness है, Creep Resistance है,Fatigue Resistance है ये सारी चीजें आप देखोगे।
मतलब ये जो सारा क्राइटीरिया है वो आपकी मटिरीअल में और आपकी जो सर्विस है उसके साथ में मैच होनी चाहिए। तभी वो मटिरीअल जो आप सिलैक्ट करोगे, वो आपकी जो प्लांट की लाइफ साइकल है, तब तक वो आपको सेफ ऐंड रिलाएबल ऑपरेशन के लिए सूटेबल रहता है।
अभी यहाँ पे मैंने जो पाइपिंग मटिरीअल है उसको ब्रॉड ली क्लासिफाइड किया हुआ है।
Piping Material Selection in hindi
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तो ये सारे मटेरियल को आप सर्विस और कॉस्ट और एबिलिटी के हिसाब से यूज़ कर सकते हो।
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